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दूरदर्शन व् रेडियो पर शैक्षणिक कार्यक्रम 1 अप्रैल से पहली से आठवीं कक्षा के लिए

14 व्यवसायिक स्थानों पर वाणिज्यिक कर विभाग का छापा MP में

भोपाल-स्कूल शिक्षा विभाग कक्षा पहली से आठवीं के विद्यार्थियों के लिए एक अप्रैल से पूर्वानुसार ही दूरदर्शन और रेडियो पर शैक्षणिक कार्यक्रम का प्रसारण करेंगा। यह शैक्षणिक गतिविधियाँ रेडियो पर प्रातः 10 से 11 और सांय 5 से 5:30 बजे तक एवं दूरदर्शन पर दोपहर 12 से 01:30 बजे तक संचालित की जाएंगी।

लू से बचाव करना जरूरी इससे बचाव एवं प्रबंधन के लिए दिशा निर्देश हुए जारी

दूरदर्शन पर कक्षा छठवीं से आठवीं के लिए विज्ञान, गणित एवं सामाजिक विज्ञान में विषय आधारित शिक्षण कार्यक्रम का प्रसारण किया जाएगा। इसी प्रकार रेडियो पर कक्षा पहली से आठवीं के लिए पाठ्यपुस्तक आधारित हिंदी, गणित, अंग्रेजी विषयों में और सांयकालीन प्रसारण में खेल, योग, कला, म्यूजिक, यातायात नियम जैसे विषयों पर कार्यक्रम प्रसारित किए जाएंगे। सभी जिलों के कलेक्टर्स को उक्त संबंध में शैक्षणिक गतिविधियां प्रारंभ करने के लिए समुचित निर्देश जारी करने हेतु कहा गया है।

खाद्यान्न वितरण किया पालिकाध्यक्ष व् सिक्ख समाज के युवा द्वारा कंटेनमेंट जोन में

उल्लेखनीय है कि DigiLEP ( डिजिटल लर्निंग एन्हांसमेंट प्रोग्राम) के अंतर्गत कक्षा पहली, दूसरी के पाठ्यपुस्तक आधारित वीडियो तथा कक्षा तीसरी से आठवीं के लिए दक्षता उन्नयन गतिविधि आधारित वीडियो प्रतिदिन व्हाट्सएप ग्रुप के माध्यम से शिक्षकों, पालकों और विद्यार्थियों को उपलब्ध कराए जाएंगे। शिक्षकों के द्वारा इन वीडियो पर क्विज, प्रश्न आदि से सीखे गए विषयों के आधार पर विद्यार्थियों का मूल्यांकन किया जाएगा।

लाख की चूड़ियां बरसों से मंदसौर की है पहचान,इन चूड़ियों का इतिहास हजारों वर्ष पुराना

कोविड 19 वायरस की वर्तमान परिस्थितियों और विद्यार्थियों के स्वास्थ्य को ध्यान में रखकर नवीन शैक्षणिक सत्र 2021-22 में कक्षाओं का ऑनलाइन संचालन किया जाएगा। सत्र 2020-21 में कोविड-19 के कारण कक्षा पहली से आठवीं के विद्यार्थियों के लिए नियमित कक्षाओं का संचालन नहीं हो सका है। इस कारण संपूर्ण सत्र में शैक्षणिक गतिविधियों को रेडियो स्कूल, डिजीलैप और दूरदर्शन के माध्यम से आयोजित करके शिक्षण प्रक्रिया जारी रखी गई है। संपूर्ण सत्र को ‘हमारा घर-हमारा विद्यालय’ की अवधारणा पर पलकों एवं शिक्षकों के सहयोग से शिक्षण प्रक्रिया सुचारू रखने के प्रयास किए गए हैं।

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वैज्ञानिक चयन परीक्षा में सृष्टि को प्रथम स्थान मिलने पर गृह मंत्री साहू ने दी बधाई

वैज्ञानिक चयन परीक्षा में सृष्टि को प्रथम स्थान मिलने पर गृह मंत्री साहू ने दी बधाई

रायपुर- गृह मंत्री ताम्रध्वज साहू ने भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संस्थान (इसरो) द्वारा आयोजित वैज्ञानिक चयन परीक्षा में सृष्टि बाफना को प्रथम स्थान मिलने पर बधाई और शुभकामनाएं दी है। गृहमंत्री साहू ने ट्वीट कर कहा है कि दुर्ग की बिटिया ने पूरे प्रदेश को गौरवान्वित किया है।

इसरो ने सफलतापूर्वक PSLV-C51 को किया लॉन्च इसके साथ गए 18 अन्य उपग्रह

खम्हारमुड़ा में हुए अंधे कत्ल का खुलासा मृतक की पत्नि व् प्रेमी ने रचा था षड्यंत्र

कोविशील्ड का दूसरा डोज छः से आठ सप्ताह का अंतराल अधिक प्रभावशाली

देश के सबसे बड़े संस्थान इसरो में स्थान प्राप्त कर छत्तीसगढ़ का मान बढ़ाया है। वैज्ञानिक चयन परीक्षा  में मिले इस सफलता के लिए सृष्टि, उनके माता-पिता और गुरूजनों को भी मेरी हार्दिक शुभकामनाएं। सृष्टि बाफना बालोद जिले के कुसुमकसा गांव की निवासी है। उन्होंने दुर्ग के महावीर विद्यालय में 10वीं एवं 12वीं की शिक्षा ग्रहण करने के बाद बीआईटी दुर्ग से सिविल इंजीनियरिंग की पढ़ाई की है। उन्होंने आईआईटी दिल्ली में एमटेक किया है।

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अंत्यावसायी योजना के तहत संसदीय सचिव ने सौंपी ट्रैक्टर ट्राली की चाबी

अंत्यावसायी योजना के तहत संसदीय सचिव ने सौंपी ट्रैक्टर ट्राली की चाबी

महासमुंद- अंत्यावसायी सहकारी विकास समिति द्वारा संचालित हितग्राही मूलक ऋण योजनाओं के अंतर्गत चयनित हितग्राहियों को संसदीय सचिव व विधायक विनोद सेवनलाल चंद्राकर ने चाबी वितरित किया। इस दौरान संसदीय सचिव  चंद्राकर ने शासन की योजनाओं का लाभ उठाने का आव्हान किया।

कोविशील्ड का दूसरा डोज छः से आठ सप्ताह का अंतराल अधिक प्रभावशाली

मिली जानकारी के अनुसार अनुसूचित जाति ट्रैक्टर ट्राली में पुरानिक निराला, अनुसूचित जनजाति ट्रैक्टर ट्राली में मनोज कुमार दीवान, अनुसूचित जनजाति गुड्स कैरियर में कुलदीप दीवान, अनुसूचित जनजाति स्माल बिजनेस के दो ईकाई में हिरण कुमार व ओमप्रकाश सिदार, अनुसूचित जनजाति स्माल बिकजनेस के एक ईकाई में राजकुमार ध्रुव, अनुसूचित जनजाति स्माल बिजनेस के एक ईकाई में लोकेश ठाकुर, आदिवासी महिला सशक्तिकरण के एक ईकाई में नीलम, अनुसूचित जाति स्माल बिजनेस के एक ईकाई में वैदेही महानंद सहित विभिन्न योजनाओं के तहत ऋण वितरित किया गया। इस अवसर पर संसदीय सचिव चंद्राकर ने कहा कि शासन द्वारा कई योजनाएं संचालित की जा रही है जिसका लाभ उठाने आगे आने की जरूरत है।

खम्हारमुड़ा में हुए अंधे कत्ल का खुलासा मृतक की पत्नि व् प्रेमी ने रचा था षड्यंत्र

अंत्यावसायी योजना के तहत संसदीय सचिव ने सौंपी ट्रैक्टर ट्राली की चाबीइस अवसर पर विधायक प्रतिनिधि दाउलाल चंद्राकर, जनपद सदस्य हेमंत डडसेना, कुणाल चंद्राकर, दारा साहू, ओमप्रकाश यादव, तोषण कन्नौजे सहायक आयुक्त एनआर देवांगन, क्षेत्राधिकारी प्रभा मारकंडे, धनराज मंडलोई, ओमप्रकाश ध्रुव, उत्तम यादव, चम्मन सेन आदि मौजूद थे।

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कोविशील्ड का दूसरा डोज छः से आठ सप्ताह का अंतराल अधिक प्रभावशाली

लेखा प्रस्तुति में बलौदाबाजार जिला राज्य में अव्वल एजी ऑफिस में लेखा विवरण जमा

महासमुन्द-भारत सरकार के निर्देशानुसार कोविशील्ड के प्रथम डोज एवं द्वितीय डोज के मध्य छः से आठ सप्ताह का अंतराल अधिक प्रभावशाली है, किन्तु द्वितीय डोज आठ सप्ताह से अधिक के अंतराल में नहीं लगाया जाना है। उक्त तथ्य को ध्यान में रखते हुए राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, छत्तीसगढ़ शासन द्वारा कोविशील्ड टीके के प्रथम डोज से छः से आठ सप्ताह के अंतराल में कोवि शील्ड का द्वितीय डोज लगाया जाना सुनिश्चित करने के निर्देश मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी को दिए गए हैं।

खाद्यान्न वितरण किया पालिकाध्यक्ष व् सिक्ख समाज के युवा द्वारा कंटेनमेंट जोन में

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उड़ान योजना के तहत 22 नए शहर में हवाई-यात्रा की सुविधा हुई उपलब्ध

ज्ञात हो कि वर्तमान में एन.ई.जी.वी.ए.सी. की अनुशंसा और भारत सरकार के निर्देशानुसार कोविशील्ड वैक्सीन के पहला डोज से चार से छः सप्ताह के अंतराल के बाद दूसरा डोज लगाया जाता है। नैशनल टैक्नीकल एडवाइजरी ग्रुप आॅन इम्यूनाईजेशन (एन.टी.ए.जी.आई) तथा एन.ई.जी.वी.ए.सी. के अनुसार कोविशील्ड के प्रथम डोज एवं द्वितीय डोज के मध्य चार से छः सप्ताह के अंतराल की अपेक्षा छः से आठ सप्ताह का अंतराल अधिक प्रभावशाली है। बताया गया है कि को वैक्सीन पूर्व निर्धारित अवधि अनुसार लगाई जाएगी।

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खाद्यान्न वितरण किया पालिकाध्यक्ष व् सिक्ख समाज के युवा द्वारा कंटेनमेंट जोन में

बागबाहरा ब्लाक के खल्लारी,लुकुपाली, तेंदूकोना व् कलमीदादर कन्टेंनमेंट जोन घोषित

महासमुंद- नगर पालिका अध्यक्ष प्रकाश चंद्राकर ने समाज सेवी रघुवीर सिंह चावला (मुन्नू) के सौजन्य से नयापारा के वार्ड क्रमांक 7 के कंटेनमेंट जोन में निवासरत जरूरतमंदों को खाद्यान्न एवं सब्जी का वितरण किया गया। नयापारा के मां तारिणी मंदिर के पास कोरोना पॉजिटिव मरीजों की संख्या अधिक पाए जाने के बाद से उक्त क्षेत्र को 25 मार्च से जिला प्रशासन द्वारा कंटेनमेंट जोन घोषित किया गया है। इसके बाद से जरूरतमंद परिवार को नगर पालिकाध्यक्ष प्रकाश चंद्राकर के द्वारा खाद्य सामग्री उपलब्ध कराया जा रहा है।

अवधि पूर्ण व् संक्रमित नही मिलने पर महासमुंद जिले के सात कंटेनमेंट जोन हुए मुक्त

बुधवार को पालिका अध्यक्ष के नेतृत्व में सिक्ख समाज के सेवाभावी युवा रघुवीर सिंह चावला, लक्की सिंह, राजा होरा के सौजन्य से खाद्यान्न सामग्री और हरी सब्जियां उपलब्ध कराया गया। करवा कर राहत प्रदान की गई है। नयापारा क्षेत्र में निवासरत लोगों को जीवनयापन की समस्या को देखते हुए पालिकाध्यक्ष चंद्राकर ने उनके लिए खाद्य सामग्री उपलब्ध कराया है।

खम्हारमुड़ा में हुए अंधे कत्ल का खुलासा मृतक की पत्नि व् प्रेमी ने रचा था षड्यंत्र

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उड़ान योजना के तहत 22 नए शहर में हवाई-यात्रा की सुविधा हुई उपलब्ध

नपाध्यक्ष ने इस संकट की घड़ी में नागरिकों को और भी अधिक सावधानी बरतने को कहा है। उन्होंने कहा कि, जरा सी भी लापरवाही स्वास्थ्य के लिए हानिकारक साबित होगा। उन्होंने कहा कि, कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए नियमित साबुन से हाथ धोना या सैनिटाइजर का उपयोग करना, शोसल डिस्टेंस का अनिवार्य रूप से पालन करने को कहा है। इस अवसर पर सभापति संदीप घोष, वार्ड की पार्षद मीना वर्मा, गोपाल वर्मा, द्रोपती नायक, मिलउराम, समीर, भगवती, फुलबासन, सुनीता, कस्तूरी, श्यामसुंदर सहित आंगनबाड़ी कार्यकर्ता मितानिन और सुरक्षाकर्मी आदि उपस्थित थे।

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खम्हारमुड़ा में हुए अंधे कत्ल का खुलासा मृतक की पत्नि व् प्रेमी ने रचा था षड्यंत्र

खम्हारमुड़ा में हुए अंधे कत्ल का खुलासा मृतक की पत्नि व् प्रेमी ने रचा था षड्यंत्र

महासमुंद-थाना खल्लारी अंतर्गत ग्राम खम्हारमुड़ा में हुए अंधे कत्ल का आज खुलासा पुलिस द्वारा किया गया।
इस अंधे कत्ल को प्रेमी एवं प्रेमिका (मृतक की पत्नि) निकले इस घटना का मास्टर माइंड। मृतक की पत्नी ने अपने प्रेमी के साथ मिलकर दिया घटना को दिया था अंजाम।आरोपियो के खिलाफ थाना खल्लारी में अपराध क्रमांक 47/21 धारा 302, 120बी भादवि0 कायम कर विवेचना में लिया गया।

थाना खल्लारी क्षेत्रांतर्गत डुमरपाली खम्हारमुड़ा जंगल के पगडंडी में 27मार्च को एक अज्ञात पुरूष का शव पडे होने की सूचना मिली। शव को देखने से शव का गला किसी धारदार हथियार से रेत कर हत्या किया जाना लग रहा हो रहा था, घटना की गम्भीरता को देखते हुये पुलिस अधीक्षक महासमुंद प्रफुल्ल कुमार ठाकुर द्वारा शव की शिनाख्ती कर आरोपी की पता तलाश कर जल्द से जल्द आरोपियों को गिरफ्तार करने हेतु थाना खल्लारी एवं सायबर सेल की टीम को निर्देशित किया गया।

उड़ान योजना के तहत 22 नए शहर में हवाई-यात्रा की सुविधा हुई उपलब्ध

मुखबीर द्वारा सूचना मिली कि ग्राम नारा का ईश्वरी साहू जिसका हुलिया मृतक से मिलता है वह  26 मार्च से घर से लापता है। टीम द्वारा ग्राम नारा जाकर ईश्वरी साहू का पतासाजी कर उसके परिजनों से पूछताछ करने पर बताया गया कि ईश्वरी साहू उक्त दिनाकं से घर से काम में जाना बताकर वापस नही आना बताया। परिजनों को थाना खल्लारी आकर शव का शिनाख्त करने के लिए बुलाया गया परिजनों द्वारा शव को पहचना कर ईश्वरी साहू होना बताया।

फाइनेंस कंपनी के कर्मचारी की कत्ल की गुत्थी सुलझी,आरोपी पुलिस की गिरफ्त में

खम्हारमुड़ा में हुए अंधे कत्ल का खुलासा मृतक की पत्नि व् प्रेमी ने रचा था षड्यंत्र

गोली काण्ड हत्या का खुलासा,02 वर्षो से था प्रेम-प्रसंग,पहले दिन का प्लान हुआ फेल

उक्त द्वारा टीम मृतक के परिजन से मृतक के संबंध में जानकारी प्राप्त करने पर पता चला की मृतक ईश्वरी साहू की शादी ग्राम रसनी थाना आरंग के मोंगरा बाई से हुई है। जिसके दो बच्चें है मृतक के पत्नी का व्यवहार अपने ससुराल पक्ष में सही नही होने से पति-पत्नी व बच्चें रायपुर में जाकर रहना बताये। रायपुर में रहने के दौरान ईश्वरी व उनके पत्नी के बीच आपसी संबंध ठीक नही चल रहा था। जिसके चलते मोंगरा बाई भी रायपुर में कुछ काम कर रही थी।

मुखबीर से पता चला की मृतक की पत्नी का पूर्व से एक सिटी बस चालक के साथ बस में रायपुर से भानसोज आने जाने के दौरान घनिष्ठता हो गयी थी व् 26.मार्च को मृतक के साथ उक्त बस चालक को ग्राम नारा से मोटर सायकल से भानसोज की ओर जाते देखा गया था। जिसपर से बस चालक बिसहत दीवान की तलाश की गई। बस चालक को उसके निवास ग्राम भडहा थाना खरोरा जिला रायपुर से पकड कर पुलिस अभिरक्षा में लिया गया एवं पूछताछ करने पर गोलमोल जवाब देकर पुलिस को गुमराह करता रहा।

लाख की चूड़ियां बरसों से मंदसौर की है पहचान,इन चूड़ियों का इतिहास हजारों वर्ष पुराना

पुलिस द्वारा कडाई से पूछताछ करने पर अपराध करना स्वीकार किया एवं बताया कि मृतक ईश्वरी की पत्नि मोगरा बाई से विगत 04 वर्षो से जान पहचान एवं प्रेम संबंध है। योजनानुसार दिनांक 26.03.21 को आरोपी सिटी बस पंडरी डीपो में छोडकर मंदिर हसौद आया वहा से अपना स्वयं का मोटर सायकल होण्डा लिवो क्रमांक CG 04 NJ 4587 को लेकर ग्राम नारा गया।

मृतक ईश्वरी साहू को घुमने जाने व शराब पिलाने के बहाने से भानसोज आरंग महासमुन्द होते हुये डुमरपाली,खम्हारमुड़ा लभरा जंगल ले गया जहाॅ बचे हुये एक पाॅवा शराब को फिर से उसे ज्यादा हिस्सा देकर कम हिस्सा अपने लिये रखा मृतक शराब पिने के बाद मदहोश होकर वही सो गया। आरोपी द्वारा अपने योजनानुसार अपने तथा प्रेमिका मोंगरा बाई के मध्य से मृतक को हटाने शराब की शिशि को फोडकर चाकू जैसे उपयोग कर मृतक के गले को बार-बार रेत कर काट कर हत्या करना स्वीकार किया तथा यह बताया कि आरोपी पूर्व में राॅयल कंपनी की बस को जिला महासमुन्द चलाने से खम्हारमुड़ा घटना स्थल एवं आसपास के ईलाके से परिचित होना बताया

यह सम्पूर्ण कार्यवाही पुलिस अधीक्षक प्रफुल्ल कुमार ठाकुर के मार्गदर्शन में अति0 पुलिस अधीक्षक मेघा टेम्भुरकर साहू एवं अनु0अधिकारी(पु) महासमुन्द नारद सूर्यवंशी के निर्देशन में सायबर सेल महासमुन्द प्रभारी संजय सिंह राजपूत, थाना प्रभारी खल्लारी दीपा केवट, विनेाद कुमार नेताम श्रवण कुमार दास, प्रकाश नंद, मिनेश सिंह धु्रव, प्रवीण शुक्ला, माधव यादव छत्रपाल सिन्हा, विरेन्द्र नेताम, दिनेश साहू, एवं थाना स्टाॅफ द्वारा की गई है।

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उड़ान योजना के तहत 22 नए शहर में हवाई-यात्रा की सुविधा हुई उपलब्ध

अंतर्राष्ट्रीय वाणिज्यिक यात्री सेवाओं के निलंबन अवधि बढ़ी

दिल्ली-देश के दूर-दराज के क्षेत्रों को जोड़ने के क्रम में उड़ान योजना के तहत पिछले तीन दिन में 22 नए मार्गों पर परिचालन शुरू किया गया जिनमें से 6 मार्ग पूर्वोत्तर भारत में हैं। उड़ान योजना के तहत शिलॉन्‍ग (मेघालय) से अगरतला (त्रिपुरा) तक की पहली सीधी उड़ान को आज शुरू किया गया। इससे पहले, कल शिलॉन्‍ग (मेघालय) – सिलचर (असम) मार्ग पर उड़ानों का परिचालन सफलतापूर्वक शुरू किया गया। इस अवसर पर नागर विमानन मंत्रालय और एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इिंडया के वरिष्‍ठ अधिकारी और अन्‍य महत्‍वपूर्ण हितधारक उपस्थित थे।

इन मार्गों पर परिचालन शुरू होने के साथ ही देश के सभी इलाकों में हवाई सेवाओं का नेटवर्क मजबूत करने के लक्ष्‍यको हासिल करने के साथ हीवहनीय हवाई यात्रा उपलब्‍ध कराने तथा क्षेत्रीय मार्गों पर आर्थिक दृष्टि से व्‍यवहारिक और लाभदायक हवाई यात्रा मुहैया कराना संभव होगा। अब तक उड़ान योजना के तहत भारत भर में ऐसे 57 हवाई अड्डों जहां विमान परिचालन बहुत कम या बेहद कम था (इनमें पांच हेलीपोर्ट और दो जल एयरोड्रोम शामिल हैं), वहां 347 मार्गों पर उड़ानों का परिचालन शुरू किया गया है।

सॉलिड फ्यूल डक्टेड रैमजेट का सफल उड़ान परीक्षण किया DRDO ने

उड़ान योजना के तहत 22 नए शहर में हवाई-यात्रा की सुविधा हुई उपलब्ध

स्‍वदेश में निर्मित स्‍मार्ट एंटी एयरफील्‍ड वेपन का सफल उड़ान परीक्षण

28 मार्च, 2021 को उड़ान योजना के तहत 18 नए मार्गों पर परिचालन शुरू किया गया था। इनमें गोरखपुर (उत्‍तर प्रदेश) से लखनऊ (उत्‍तर प्रदेश), जो कि एक राज्‍य समर्थित उड़ान मार्ग है, कर्नूल (आंध्र प्रदेश) से बैंगलुरू (कर्नाटक), विशाखापट्टनम (आंध्र प्रदेश) और चेन्‍नई (तमिलनाडु), आगरा (उत्‍तर प्रदेश) से बैंगलुरू (कर्नाटक) तथा भोपाल, (मध्‍यप्रदेश), प्रयागराज (उत्‍तर प्रदेश) से भुवनेश्‍वर (ओडिशा) और भोपाल (मध्‍य प्रदेश) शामिल हैं। इन मार्गों के अलावा डिब्रूगढ़ (असम) से दीमापुर (नगालैंड) के बीच भी हवाई सम्‍पर्क कायम किया गया।

लाख की चूड़ियां बरसों से मंदसौर की है पहचान,इन चूड़ियों का इतिहास हजारों वर्ष पुराना

उड़ान-4 निविदा प्रक्रिया के तहत पिछले साल इंडिगो एयरलाइन्‍स को शिलॉन्‍ग – अगरतला, शिलॉन्‍ग –सिलचर, कर्नूल – बैंगलुरू, विशाखापट्टनम और चेन्‍नई मार्गों पर परिचालन की जिम्‍मेदारी सौपी गई। इसके अलावा उड़ान-3 के तहत आगरा से बैंगलुरू और आगरा से भोपाल मार्ग, उड़ान-2 के तहत प्रयागराज से भुवनेश्‍वर और प्रयागराज से भोपाल मार्ग, और उड़ान-3 निविदा प्रक्रिया के तहत डिब्रूगढ़ से दीमापुर का मार्ग परिचालन के लिए सौंपा गया। एलायन्‍स एयर को उड़ान-3 निविदा प्रक्रिया के तहत लखनऊ-गोरखपुर मार्ग पर परिचालन की जिम्‍मेदारी सौंपी गई है।

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लू से बचाव करना जरूरी इससे बचाव एवं प्रबंधन के लिए दिशा निर्देश हुए जारी

स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा ग्रीष्मकालीन अवकाश घोषित
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रायपुर-राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग की सचिव एवं राहत आयुक्त रीता शांडिल्य ने राज्य के सभी जिलों के कलेक्टरों को पत्र जारी कर इस साल भीषण गर्मी की संभावना को देखते हुए लू से बचाव एवं प्रबंधन करने आवश्यक कार्यवाही सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। राहत आयुक्त ने इस संबंध में सभी कलेक्टर्स को अपने-अपने जिले में एक वरिष्ठ अधिकारी को नोडल अधिकारी नियुक्त करने तथा प्रतिदिन लू से प्रभावितों की जानकारी राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग को प्रेषित करने के निर्देश दिए हैं। राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग द्वारा कलेक्टरों को अपने जिलों में लू से बचाव के लिए लोगों को जागरूक करने के लिए सभी आवश्यक कार्यवाही करने के लिए निर्देश दिए गए हैं।

कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए गाईडलाईन का कड़ाई से हो पालन-CM बघेल

प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों में गर्मी के इस मौसम में तापमान और बढ़ने की संभावना है। गर्मी के मौसम में लोगों को लू से प्रभावित होने की संभावना रहती है। सूर्य की तेज गर्मी के दुष्प्रभाव से शरीर पर के विपरीत प्रभाव पड़ता है। जिसके कारण शरीर का तापमान अनियंत्रित हो जाता हैं। शरीर की जैविक क्रियाओं को प्रभावित करता हैं। इस स्थिति को लू लगना (हीट स्ट्रोक) के नाम से जाना जाता है। जिसके कारण लू लगने की अधिक संभावना होती है।

तपोवन में छठे दिन भी बचाव अभियान जारी,अभीतक 36 शव किए गए बरामद

लू के विभिन्न लक्षण जैसे – सिर में भारीपन और दर्द का अनुभव होना, तेज बुखार के साथ मुंह का सूखना, चक्कर और उल्टी का आना, कमजोरी के साथ शरीर में दर्द होना। साथ ही शरीर का तापमान अधिक होने पर पसीना आना एवं भूख कम लगना, बेहोश होना। लू लगने का प्रमुख कारण तेज धूप और गर्मी में ज्यादा देर तक रहने के कारण शरीर में पानी की कमी हो जाती हैं।

लू से बचाव करना जरूरी इससे बचाव एवं प्रबंधन के लिए दिशा निर्देश हुए जारी
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इससे बचाव के लिए यह ध्यान रखना जरूरी है कि अधिक पसीना आने की स्थिति में ओ.आर.एस. घोल पीयें, बहुत अनिवार्य न हो तो घर से बाहर ना जावें, धूप में निकलने से पहले सर व कानो को कपड़ें से अच्छे से बांध ले, पानी अधिक मात्रा में पीयें, अधिक समय तक धूप में न रहें, गर्मी के दौरान नरम, मुलायम सूती के कपड़े पहनने चाहिए ताकि हवा और कपडें पसीने को सोखते रहे। चक्कर आने, मितली आने पर छाया दार स्थान पर आराम करें तथा शीतल पेयजल अथवा उपलब्ध हो तो फल का रस, लस्सी, मठा आदि का सेवन करें। उल्टी, सर दर्द, तेज बुखार की दशा में मरीज को निकट के अस्पताल अथवा स्वास्थ्य केन्द्र में तत्काल लेकर जाना चाहिए।

36गढ़ वेतन पुनरीक्षण नियम 2017 के तहत एरियर्स के तीसरी किश्त के भुगतान आदेश जारी

लू लगने पर किया जाने वाला प्रारंभिक उपचार:- बुखार पीड़ित व्यक्ति के सर पर ठंडे पानी की पट्टी लगावें। अधिक पानी व पेय पदार्थ पिलावें जैसें कच्चे आम का पन्ना, जलजीरा आदि, पीड़ित व्यक्ति को पंखें के नीचे हवा में लेटा देवें, शरीर पर ठंडे पानी का छिड़काव करते रहे, पीड़ित व्यक्ति को शीघ्र ही किसी नजदीकी चिकित्सक, अस्पताल या स्वास्थ्य केन्द्र में मरीज को पहुंचाना चाहिए, प्रारंभिक सलाह के लिए आरोग्य सेवा केन्द्र दूरभाष नंबर 104 पर तत्काल निःशुल्क परामर्श लिया जा सकता है।

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लाख की चूड़ियां बरसों से मंदसौर की है पहचान,इन चूड़ियों का इतिहास हजारों वर्ष पुराना

लाख चूड़ियां बरसों से मंदसौर की है पहचान,इन चूड़ियों का इतिहास हजारों वर्ष पुराना

मंदसौर-लाख की चूड़ियां बरसों से मंदसौर की पहचान है। नयापुरा रोड बरगुंडा गली के कई परिवार 3 पीढ़ियों से चूड़ी निर्माण में लगे हैं। इस माध्यम से वे ना केवल आत्मनिर्भर हो चुके बल्कि कई सहयोगियों को भी रोजगार दिला रहे। मंदसौर में लाख से बनी चूड़ियों की डिमांड मालवांचल समेत राजस्थान, गुजरात जैसे कई राज्यों में है। इसका रॉ मटेरियल अहमदाबाद और रायपुर से आता है। वैसे लाख की इन चूड़ियों का इतिहास सिंधु घाटी सभ्यता के वक्त से माना जाता है और उस दौर में मोहन जोदड़ो (सिंध, पाकिस्तान) की खुदाई से नृत्य करती युवती (डांसिंग गर्ल) की जो मूर्ति मिली थी, उसने भी हाथ चूड़ियां पहन रखी हैं। इस प्रकार इन चूड़ियों का इतिहास हमारी सभ्यता में हजारों वर्ष पुराना है।

22 लाख नकदी सहित,सोने के जेवर के साथ दो अन्तर्राज्यीय शातिर चोर गिरफ्तार

कलेक्टर मनोज पुष्प, सीईओ जिला पंचायत ऋषव गुप्ता के मार्गदर्शन में इन उत्पादों को बढ़ाने पर काम किया जा रहा। उल्लेखनीय है कि मंदसौर विधायक  यशपालसिंह सिसौदिया ने भी पिछले दिनों मेहनतकश इन परिवार के उत्पादों को एक मंच देने की बात कही थी, मंदसौर की यही पहचान अब निरंतर विस्तार ले रही है। मंदसौर की बात करें तो चूड़ी निर्माण कार्य में 100 से अधिक परिवार संलग्न हैं। जो न केवल शहर में विक्रय करते बल्कि अंचल के मल्हारगढ़, भानपुरा, गरोठ, दलौदा, सुवासरा, शामगढ़ तहसीलों व आसपास के जिलों व राज्यों में भी व्यापार को बढ़ावा दे रहे हैं।

महेश राजा की लघु-कथाए” हालात” “स्वीकारोक्ति” “बँटवारा” “बेड़ियाँ ” व् थकान

लाख चूड़ियां बरसों से मंदसौर की है पहचान,इन चूड़ियों का इतिहास हजारों वर्ष पुराना

चूड़ी निर्माण करने वाले धनराज लक्षकार कहते हैं। समाज का एक बड़ा तबका चूड़ी निर्माण कार्य से जुड़ा है। इसके अलावा कई नौकरीपेशा भी हैं। समाज के ही पूनमचंद पिता मन्नालाल की तो अपनी अलग पहचान है, वे धोती-कुर्ता, काली टोपी पहनकर मंदसौर के गली-मोहल्लों में चूड़ी की पेटी लेकर घूमा करते थे। समाज जन लाख की सामग्री बाजार से लाते और पक्का रंग लाकर निर्माण प्रक्रिया में जुटे रहते हैं। हालांकि समय के साथ निर्माण सामग्री में आने वाला कोयला व सह उत्पाद भी महंगे हुए हैं, लेकिन आज भी इसकी खरीदारी बढ़ती जा रही है।

लाख चूड़ियां बरसों से मंदसौर की है पहचान,इन चूड़ियों का इतिहास हजारों वर्ष पुराना

हर मांगलिक कार्य में लाख की चूड़ियां पहनने की परंपरा प्राचीन समय से ही रही है। जैसे करवाचौथ, गणगौर, हरतालिका तीज, माताजी पूजन इत्यादी। लाख की इन चूड़ियों की खासियत है कि इनकी बनावट मन को लुभाती है और इनका आकर्षक कलर, डिजाइन व्यक्ति को इनकी ओर आकर्षित करती हैं। यही वजह है कि समय के साथ लाख की चूड़ी के इस व्यापार में बहुत अधिक प्रतिस्पर्धा भी देखने को मिल रही है।

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लाख चूड़ियां बरसों से मंदसौर की है पहचान,इन चूड़ियों का इतिहास हजारों वर्ष पुराना

वेद, महाभारत, शिवपुराण जैसे प्राचीन ग्रंथों में भी है लाख का उल्लेख मिलता है। लाख की चूड़ियां बनाना ऐसी विधा है जिसके निर्माण में पुरुष और महिलाओं दोनों की जरुरत होती है। आज भी लाख की चूड़ियां बनाने में सदियों पुरानी तकनीक का ही उपयोग हो रहा। इस तरह मंदसौर में कई ऐसे परिवार हैं जो लाख की चूड़ियों की निर्माण विधि, व्यवसाय को जीवित रखे हुए हैं और इस उत्पाद को मंदसौर की पहचान बनाने में सरकार की आत्मनिर्भर मध्यप्रदेश योजना एवं प्रशासन का प्रयास सराहनीय भूमिका निर्वहन कर रहा है

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36गढ़ वेतन पुनरीक्षण नियम 2017 के तहत एरियर्स के तीसरी किश्त के भुगतान आदेश जारी

स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा ग्रीष्मकालीन अवकाश घोषित
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रायपुर-राज्य शासन द्वारा शासकीय सेवकों को 36गढ़ वेतन पुनरीक्षण नियम 2017 के अंतर्गत बकाया वेतन भुगतान (वेतन एरियर्स) के तृतीय किश्त के रूप में माह जुलाई 2016 से माह सितम्बर 2016 तक बकाया वेतन का भुगतान का निर्णय लिया गया है। शेष किश्तों के भुगतान के संबंधों में यथासमय आदेश प्रसारित किया जाएगा।

7 वें वेतनमान की तीसरी किश्त के एरियर की शेष 75% राशि नगद भुगतान का निर्णय

वित्त विभाग द्वारा 28 मार्च 2021 को मंत्रालय महानदी भवन से जारी आदेश में कहा गया है कि राज्य शासन के कर्मचारियों और कार्यभारित तथा आकस्मिकता से वेतन पाने वाले कर्मचारियों के लिए एक जनवरी 2016 से छत्तीसगढ़ वेतन पुनरीक्षण नियम 2017 लागू किया गया है। एक जुलाई 2017 से नियमित भुगतान कर एक जनवरी 2016 से 30 जून 2017 तक 18 माह के बकाया वेतन के भुगतान के संबंध में पृथक निर्देश जारी करने का निर्णय लिया गया है।

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राज्य शासन द्वारा शासकीय सेवकों को एक जनवरी 2016 से 30 जून 2017 की अवधि के बकाया स्वत्वों (वेतन एरियर्स) का नगद भुगतान छह समान वार्षिक किश्तों में करने का निर्णय लिया गया है। वित्त विभाग द्वारा प्रथम और द्वितीय किश्त के भुगतान हेतु आदेश जारी करने के बाद तृतीय किश्त के रूप में माह जुलाई 2016 से सितम्बर 2016 के बकाया वेतन भुगतान हेतु आदेश जारी किया गया है।

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वित्त विभाग द्वारा बकाया वेतन भुगतान के संबंध में सभी विभागाध्यक्षों, अध्यक्ष राजस्व मण्डल बिलासपुर, संभागीय कमिश्नरों और जिला कलेक्टरों को परिपत्र जारी किया गया है। परिपत्र में कहा गया है कि माह जुलाई 2016 से सितम्बर 2016 के बकाया वेतन भुगतान का देयक तैयार कर कोषालय संहिता भाग-1 के सहायक नियम 268 के प्रावधानों का पालन करते हुए आहरण किया जाए।

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