प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा है कि खुलापन, विभिन्न मतों के प्रति सम्मान और नवाचार, भारतीयों के विचारों की स्वभाविक प्रक्रिया है। उन्होंने कहा कि आज जब दुनिया घृणा, हिंसा, संघर्ष और आतंकवाद से मुक्त होने के प्रयास कर रही है, ऐसे में भारतीय जीवनशैली आशा की नई किरण दिखाती है। प्रधानमंत्री ने कहा कि टकराव से बचने का भारतीय तरीका बल का प्रयोग नहीं, बल्कि संवाद का है।
https;-शासकीय उचित मूल्य दुकान के संचालक निलंबित
प्रधानमंत्री कोझिकोड के भारतीय प्रबंधन संस्थान के विद्यार्थियों को वीडियो कांफ्रेंस के जरिये सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि महिलाओं को मतदान का अधिकार देने में अधिकतर पश्चिमी देशों को भी दो दशक लगे जबकि हमारे संविधान निर्माताओं ने पहले दिन से ही महिलाओं को यह अधिकार देने का प्रावधान किया।
https;- नीलांशी ने बालो के लिए बनाया नया वर्ल्ड रिकॉर्ड 5 फुट 7 इंच का
प्रधानमंत्री ने यह भी कहा कि भारतीय सोच ने दुनिया को बहुत कुछ दिया है तथा उसमें और भी अधिक योगदान करने की क्षमता है। उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी ने शांति के इन सिद्धांतों की हिमायत की और इसका देश के स्वतंत्रता आंदोलन में बड़ा योगदान रहा। प्रधानमंत्री मोदी ने भारतीय जीवनशैली में करूणा, सद्भाव, न्याय, सेवा और खुलापन जैसे सिद्धांतों पर जोर देते हुए कहा कि ये भारतीय मूल्यों के केन्द्र में रहे हैं।
https;-51वीं के-नाईन वज्र होवित्जर तोप राष्ट्र को समर्पित
प्रधानमंत्री ने पर्यावरण संरक्षण के संदर्भ में जहरीली गैसों के उत्सर्जन को कम करने के उपायों की सराहना की। उन्होंने देश के वन क्षेत्र में वृद्धि और बाघ संरक्षण के सकारात्मक परिणामों का विशेष रूप से जिक्र किया।
हमसे जुड़े ;-