महासमुंद- विधायक विनोद सेवनलाल चंद्राकर ने रायपुर और आरंग के बीच बन रहे एक और टोल नाके का विरोध जताया है। उन्होंने कहा कि क्षेत्र की जानता से एक सड़क का दोहरा टैक्स लेना न्याय संगत नहीं है।
विधायक ने कहा कि राष्ट्रीय राजमार्ग आथरिटी के नियमों के मुताबिक टोल प्लाजा का निर्माण किया जाना चाहिए। रसनी और लखौली के बीच पहले ही टोल प्लाजा संचालित है। इस टोल प्लाजा में मंदिर हसौद में बन रहे टोल प्लाजा की दूरी महज 14 किमी है। जबकि गाइडलाइन के मुताबिक टोल प्लाजा के बीच में दूरी तीस किमी होना चाहिए। ऐसे में सीधा भार महासमुंद जिले के लोगांे पर पड़ेगा। आना-जाना तो महंगा होगा, समान ढुलाई, सब्जी वगैरह का ट्रंासपोर्टेशन महंगा होगा जो जनता को ही झेलना पड़ेगा।
वास्तव में इस टोल प्लाजा को सुंदरनगर(रायपुर) या दुर्ग रोड़ पर बनना था लेकिन इस बोझ को महासमुंद वालों के सर पर डाल दिया गया है। विधायक विनोद चंद्राकर ने कहा कि जिस स्थान पर टोल नाके का निर्माण किया जा रहा है उसके पास दो चौक और रेलवे क्रासिंग है। इसके चलते मंदिर हसौद से एयरपोर्ट जाने वाले मार्ग पर जाम लगा रहता है। यहां रेलवे साइडिंग भी है। जहां पर कंपनियों का कच्चा माल और चावल-खाद की गाड़ियां भी खाली की जाती है। मुख्य बाजार, एचपी गैस प्लांट, हिंदुस्तान पेट्रोलियम, मोनेट जिंदल का स्टील प्लांट भी है। ऐसे में आने वाले समय में यह दुर्घटनाजन्य क्षेत्र भी बन जाएगा इस कारण यहा टोल प्लाजा कतई उचित नही है। जिला महासमुंद की जनता को अत्यधिक आर्थिक भार पड़ेगा और परेशानी भी उठानी पड़ेगी।
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