महासमुंद। जिला मुख्यालय से महज 17 किमी दूर व गरियाबंद जिला का अंतिम गाँव ग्राम हथखोज में आज मकर संक्रांति के दिन घोनडुल मेला (लुड़कने वाला मेला) लगता है । उक्त गाँव मे आसपास के कई जिले के लोग मेला देखने आते है । यंहा पर एक माता जी का मंदिर है जिसमे लोगों की मनोकामना पूरी होती है वो लोग हर साल इस मेले मे अपने परिवार के साथ आते है ।
जय माँ शक्ति लहरी समिति सतधरा धाम मंदिर ग्राम हथखोज के फिरोज निषाद बताया कि यंहा पर माँ आदि शक्ति का मंदिर है हमारे पूर्वजों के द्वारा बड़ी विनती के साथ माँ शक्ति को इस स्थान पर लाए है व उनका आशीर्वाद इस गाँव के लोगों के अलावा अन्य लोगों पर मातारानी की कृपा बरसती है जिसके कारण इस क्षेत्र का नाम है इसके अलावा एक खास बात यह भी है कि मकर संक्रांति के दिन ही नदियों के संगम स्थल पर घोनडुअल मेला (लुड़कने वाला मेला) लगता है।
हथखोज में लगा घोनडुल मेला,उमड़ी श्रद्धालुयों की भीड़
निषाद ने आगे बताया कि इस स्थान पर सात नदियों का संगम है इसके अलावा इस मार्ग से पंचकोशी यात्रा के यात्री इस दिन इस स्थान से होते हुए बम्हनेश्वर महादेव के दर्शन के लिए बम्हनी गाँव आते है। घोनडुल मेला (लुड़कने वाला मेला) देखने के लिए बड़ी संख्या मे लोग आते है । श्रद्धालुयों के द्वारा रेत मे मातारानी को याद करते हुए एक स्थान इकठ्ठा करते है उसके बाद रेत मे दंडवत प्रणाम करते हुए मातारानी को याद करते हुए अपने आप रेत मे लुड़कते हुए चलते जाते है जब तक उनको कोइ ना रोके ।
श्याम बाई यादव सरकड़ा पिथौरा, मोगरा यादव व विमला यादव सनडोंगरी हीरापुर रायपुर निवासियों ने बताया है हमारा पूरा परिवार हथखोज में हर साल मकर संक्रांति के दिन स्नान ध्यान करने के बाद माँ आदि शक्ति का पूजा करने के लिए आते है । यंहा आने वाले सभी भक्तों पर माता रानी की कृपा बरसती है । जिसके कारण से यह क्षेत्र प्रसिद्ध हो रहा है ।
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